प्रयागराज। आगामी कुंभ के मद्देनजर एनएचआई ने इनर रिंग रोड परियोजना को दो चरणों में बनाने के प्रस्ताव को अंतिम रूप दे दिया है। कुंभ को देखते हुए प्रथम चरण में रीवा रोड से सहसों तक इनर रिंग रोड का निर्माण कराया जाएगा। शहर को जाम से निजात दिलाने के लिए राष्ट्रीय राजमार्ग-दो पर प्रस्तावित इनर रिंग रोड परियोजना जिले के 155 गांवों से होकर गुजरेगी। कानपुर-वाराणसी राष्ट्रीय राजमार्ग-दो पर रिंग रोड का निर्माण दो चरणों में कराया जाएगा। डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य की पहल पर राष्ट्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने इस परियोजना के प्रस्ताव पर हामी भर दी है। एनएचएआई ने इस परियोजना को दो चरणों में पूरा कराने का खाका खींचा है। करीब 10 हजार करोड़ रुपये की इस इनर रिंग रोड का पहले चरण में निर्माण करीब 27 किलोमीटर होगा। इसके तहत आगामी कुंभ मेला के मद्देनजर रीवा रोड से इसकी शुरुआत की जाएगी। पहले कौड़िहार के कसारी गांव के पास एनएच-दो से इस रिंग रोड का निर्माण आरंभ होना था, लेकिन अब प्रारूप में बदलाव कर दिया गया है। अब रीवा रोड से होकर जीटी रोड पर महुआरी, लवाइन कला होते हुए अंदावा के रास्ते इस रिंग रोड को आगे ले जाकर सहसों में मिलाया जाएगा। इसके बाद फिर इसे एनएच-2 से जोड़ दिया जाएगा। फाइनल प्रस्ताव के मुताबिक 68 किलोमीटर लंबी इनर रिंग रोड छह तहसीलों से होकर गुजरेगी। इनमें सदर तहसील के साथ सोरांव, करछना, फूलपुर, बारा व हंडिया तहसील के कुल 155 गांवों के किसान प्रभावित होंगे।