Uttarakhand: उत्तराखंड में चल रही चार धाम यात्रा में अब हेली सेवा मिलना मुश्किल है. मौसम खराब होने की वजह से कोई भी कम्पनी उड़ान नहीं भर रही है.केदारनाथ धाम के लिए हेलिकॉप्टर सेवाएं तीसरे चरण में (सितंबर में) मानसून खत्म होने के बाद फिर से शुरू होगी. हेलिकॉप्टर संचालित करने वाली सभी छह हेली कंपनियां रविवार को अपने सात हेलिकॉप्टरों के साथ केदारघाटी से वापस लौट गई हैं। । 17 से 21 जून तक उड़ानें रद्द होने से यात्रियों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा।
मौसम खराब होने की वजह से 1,638 टिकटें हुई रद्द
इस वर्ष 2 मई से शुरू हुई केदारनाथ यात्रा के लिए नागर विमानन महानिदेशालय (डीजीसीए) ने आठ हेली कंपनियों के नौ हेलिकॉप्टरों को उड़ान की अनुमति दी थी। हालांकि, यात्रा का पहला चरण हेली कंपनियों के लिए काफी उतार-चढ़ाव भरा रहा। कपाट खुलने से लेकर 21 जून तक, कुल 13,304 टिकट रद्द हुए, जिससे कंपनियों को 8.65 करोड़ से अधिक का भारी नुकसान झेलना पड़ा। शुरुआत में, 2 से 16 मई तक मौसम और भारत-पाकिस्तान के बीच बढ़े तनाव के कारण 1,638 टिकट रद्द हुए थे।
क्रिस्टल कंपनी के हेलिकॉप्टर का इमरजेंसी लैंडिंग
बडासू हेलिपैड से 7 जून को केदारनाथ के लिए उड़ान भरते समय क्रिस्टल कंपनी के हेलिकॉप्टर को रुद्रप्रयाग-गौरीकुंड हाईवे पर इमरजेंसी लैंडिंग करनी पड़ी थी। इस घटना के बाद, डीजीसीए ने सभी हेली कंपनियों के कार्यालयों का निरीक्षण किया और उड़ानों के लिए शटल निर्धारित कीं, जिससे उड़ानें नियंत्रित हुईं और कंपनियों को प्रतिदिन सैकड़ों टिकट रद्द करने पड़े।
आर्यन हेली कंपनी का हेलिकॉप्टर दुर्घटनाग्रस्त
15 जून को, केदारनाथ से गुप्तकाशी के लिए उड़ान भरते समय आर्यन हेली कंपनी का हेलिकॉप्टर दुर्घटनाग्रस्त हो गया। इस हादसे का कारण खराब मौसम बताया गया था। इसी दौरान, ट्रांस भारत के दो हेलिकॉप्टरों ने भी अलग-अलग हेलिपैड से उड़ान भरी और वापस लौटे थे। आर्यन हेली कंपनी का हेलिकॉप्टर दुर्घटना के तुरंत बाद डीजीसीए ने दो दिनों के लिए हेलिकॉप्टर सेवा बंद कर दी थी।
उड़ान भरने में असमर्थ
डीजीसीए ने खराब मौसम में जबरन उड़ान भरने के लिए ट्रांस भारत के दोनों पायलटों के लाइसेंस छह महीने के लिए रद्द कर दिए। इसके साथ ही, आर्यन कंपनी प्रबंधन से भी लंबी पूछताछ की गई और राजस्व विभाग ने कंपनी प्रबंधक के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया। वहीं 17 से 21 जून तक खराब मौसम के कारण हेलिकॉप्टर उड़ान नहीं भर पाए। जिससे यात्री परेशान हुए।
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