Lok sabha: रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने लोकसभा में ऑपरेशन सिंदूर पर बहस की शुरुआत करते हुए कहा कि मैं उन बहादुर सैनिकों को श्रद्धांजलि अर्पित करता हूं, जिन्होंने देश के लिए अपना बलिदान दिया है. उन्होंने कहा कि पहलगाम में कायराना आतंकी हमला हुआ. हमने ऑपरेशन सिंदूर के जरिए मां-बहनों का बदला लिया. ऑपरेशन सिंदूर से पहले हर पहलू पर ध्यान दिया गया.
आतंकवादियों के 9 ठिकानों को निशाना बनायाः राजनाथ सिंह
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि हमारी सेनाओं द्वारा की गई, आपरेशन सिंदूर ने, आतंकवादियों के 9 ठिकानों को तबाह कर दिया. इस सैन्य कार्रवाई में एक अनुमान के अनुसार करीब सौ से अधिक आतंकवादी, उनके प्रशिक्षक, हैंडलर और सहयोगी मारे गए हैं. इनमें से अधिकांश जैश-ए-मोहम्मद, लश्कर-ए-तैयबा और हिजबुल मुजाहिदीन जैसे आतंकी संगठनों से संबंधित थे. ये वही आतंकी संगठन हैं, जिन्हें पाकिस्तान की सेना और ISI का खुला समर्थन प्राप्त है.
बातचीत और आतंकवाद एक साथ नहीं
ऑपरेशन सिंदूर पर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा, “हमारी सरकार ने भी पाकिस्तान के साथ शांति स्थापित करने को लेकर काफी प्रयास किए हैं. लेकिन बाद में, 2016 की सर्जिकल स्ट्राइक, 2019 की बालाकोट एयर स्ट्राइक और 2025 के ऑपरेशन सिंदूर के माध्यम से, हमने शांति स्थापित करने के लिए एक अलग रास्ता अपनाया है. नरेंद्र मोदी सरकार का रुख साफ है- बातचीत और आतंकवाद एक साथ नहीं चल सकते.”
ऑपरेशन सिंदूर का मकसद निर्दोषों को इंसाफ दिलाना
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर का मकसद निर्दोषों को इंसाफ दिलाना था. पाकिस्तान ने हमारे DGMO से कार्रवाई रोकने के लिए कहा गया. सैन्य कार्रवाइयों को रोकने की अपील की गई. हमारे करारे जवाब के आगे पाकिस्तान ने कहा कि महाराज अब रोक दीजिए.
“कार्रवाई पूरी तरह से आत्मरक्षा में थी”
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा, “हमारी कार्रवाई पूरी तरह से आत्मरक्षा में थी, न तो उकसावे वाली थी और न ही विस्तारवादी. फिर भी 10 मई को लगभग 1:30 बजे पाकिस्तान ने मिसाइलों, ड्रोन, रॉकेट और अन्य लंबी दूरी के हथियारों का उपयोग करके भारत पर बड़े पैमाने पर हमला किया.” उन्होंने कहा, “S-400, आकाश मिसाइल प्रणाली, वायु रक्षा बंदूकें बहुत उपयोगी साबित हुईं और पाकिस्तान के इस हमले को पूरी तरह से विफल कर दिया.”
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