Health Tips: सेहत के लिए बे‍हद ही चमत्कारी है गिलोय, जानें सेवन करने का सही तरीका

Giloy Health Benefits: बदलते मौसम ममें बिमारियों का प्रकोप ज्‍यादातर बढ़ जाता है, जिससे लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है।वहीं, ऐसे सीजन में सर्दी-जुकाम, बुखार और पेट की समस्याएं होना आम बात हो जाती है। इन बिमारियों से बचने के लिए लोग बाजार से महगी दवाएं ले आते है लेकिन आज हम आपको कुछ ऐसी जड़ी-बूटियों के बारे में बताने जा रहे है जिनके इस्‍तेमाल से इन बीमारियों से आसानी से छुटकारा पाया जा सकता है। गिलोय एक ऐसी लता है पेड़ों के ऊपर लटकी रहती है। आयुर्वेद में गिलोय को सेहत के लिए वरदान माना गया है। सही तरीके से गिलोय का सेवन करने से इम्यूनिटी को फौलादी बनाया जा सकता है।

आपको बता दें कि गिलोय में कई औषधीय गुण होते हैं, जिसकी वजह से इसे आयुर्वेद में बेहद फायदेमंद जड़ी-बूटी माना गया है। गिलोय को गुडुची कहा जाता है।  इसकी तासीर गर्म होती है, जिसकी वजह से यह सर्दी-जुकाम से राहत दिलाने में बेहद कारगर मानी जा सकती है। गिलोय को सबसे पावरफुल नेचुरल इम्यूनिटी बूस्टर भी माना जाता है। इसमें पाए जाने वाले औषधीय तत्व शरीर में पहुंचकर हमारे पाचन तंत्र को भी दुरुस्त करते हैं और बीमारियों से राहत दिलाने में मददगार साबित होते हैं। गिलोय आमतौर पर नीम या किसी भी पेड़ पर लटकी हुई मिल जाती है और इसकी लकड़ी को दवा के तौर पर इस्तेमाल किया जाता है। तो चलिए जानते है इसके सभी फायदों के बारे में…

गिलोय के सेवन से फायदे

  • गिलोय का काढ़ा बनाकर पीने से किसी भी तरह के बुखार को ठीक करने में मदद मिलती है। दिन में 3 बार गिलोय का काढ़ा पीने से बुखार को कुछ ही दिनों में पूरी तरह ठीक किया जा सकता है।
  • सर्दी-जुकाम की समस्या से जूझ रहे लोग अगर गिलोय का सेवन करेंगे, तो उनकी यह समस्या से जल्द राहत मिल सकती है। लंबे समय तक इसका सेवन करने से इस परेशानी का खतरा भी कम हो सकता है।
  • गिलोय को सबसे शक्तिशाली इम्यूनिटी बूस्टर माना जा सकता है। गिलोय का काढ़ा, टेबलेट या चूर्ण का सेवन करने से इम्यूनिटी को मजबूत बनाने में मदद मिलती है। गिलोय का सेवन करने से बीमारियों से बचाव होता है।
  • आयुर्वेद एक्सपर्ट के अनुसार गिलोय में एंटीइंफ्लेमेटरी प्रॉपर्टी होती है, जो शरीर की सूजन को कम करने में मदद करती हैं। अर्थराइटिस की बीमारी से जूझ रहे लोग गिलोय का सेवन करेंगे, तो उनका दर्द काफी कम हो सकता है और सूजन भी कम हो जाएगी।
  • हाई कोलेस्ट्रॉल और डायबिटीज के मरीजों के लिए भी गिलोय का सेवन करना बेहद लाभकारी माना जा सकता है। गिलोय में मौजूद औषधीय गुण कोलेस्ट्रॉल और ब्लड शुगर कंट्रोल करने में मदद कर सकते हैं.

गिलोय का काढ़ा बनाने का तरीका

गिलोय का काढ़ा बनाने के लिए सबसे पहले गिलोय की लकड़ी को अच्छी तरह धोकर पानी में कुछ देर तक उबालें। ध्यान दें कि इसे उबालने के दौरान बर्तन का ढक्कन बंद न करें और जब बर्तन का पानी एक चौथाई रह जाए, तब गैस बंद कर दें। इसके बाद ठंडा होने पर इसे छानकर किसी बोतल या बर्तन में भरकर रख लें। इस तरह आपका गिलोय का काढ़ा बनकर तैयार हो जाएगा। इसका आप दिन भर में थोड़ी-थोड़ी मात्रा में 3 बार सेवन कर सकते हैं। आप कई महीनों तक गिलोय का काढ़ा पी सकते है, क्योंकि इसका शरीर पर कोई साइड इफेक्ट नहीं होता है। वहीं, अगर आपको गिलोय की लकड़ी न मिले, तो बाजार में मिलने वाली गिलोय की टेबलेट और चूर्ण का सेवन कर सकते हैं।

 

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